स्पेशल इंटरव्यू: उत्तराखंड के ढांचे को नई ऊंचाइयां देने के लिए सीएम धामी ने भरी उड़ान, पढ़ें ये खास रिपोर्ट

Uttarakhand

उत्तराखंड की पुष्कर सिंह धामी सरकार ने राज्य की ढांचागत सुविधाओं को मजबूती देने का खाका खींचा है। इसे मूर्त रूप देने के लिए न सिर्फ देश के बड़े औद्योगिक समूहों, बल्कि विदेशी निवेश जुटाने के लिए वहां के बड़े घरानों को भी आमंत्रित किया जा रहा है। उत्तराखंड की धरती पर विदेशी निवेश उतारने के लिए मुख्यमंत्री के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल ने ब्रिटेन की उड़ान भरी है। तीन दिवसीय लंदन और बर्मिघम दौरे के दौरान मुख्यमंत्री विभिन्न क्षेत्रों के निवेशकों से मिलेंगे और संभावनाएं तलाशेंगे।

दिसंबर में वैश्विक निवेश सम्मेलन है, पहले भी ऐसा सम्मेलन हुआ है, इस बार क्या संभावनाएं हैं?

इस बार सम्मेलन से पहले सरकार ने जमीनी तैयारी की है। आखिर क्यों निवेशक हमारे राज्य में आएं, इसका गहराई से अध्ययन कर ऐसी पुख्ता व्यवस्था की गई है, ताकि उन्हें कठिनाई न हो। एक लक्ष्य और उसे कैसे पूरा किया जाए, इसे ध्यान में रखकर निवेशकों को आमंत्रित कर रहे हैं।

तीन दिन के लंदन और बर्मिंघम दौरे में औद्योगिक घरानों से क्या अपेक्षा है? कौन से क्षेत्रों में उन्हें आमंत्रित कर रहे हैं?

पर्यटन, आईटी, शिक्षा, स्वास्थ्य, फूड प्रोसेसिंग के साथ ऑटोमोबाइल क्षेत्र से जुड़े लोगों के साथ बैठकें होनी हैं। इसके लिए 26 सितंबर को लंदन में एक रोड शो हो रहा है। हमारा प्रतिनिधिमंडल रोपवे क्षेत्र में काम कर रहे प्रमुख पोमा ग्रुप के साथ भी बैठक करेगा। उनसे इको फ्रेंडली मोबिलिटी पर भी चर्चा होगी। लंदन की प्रमुख हस्तियों से भी मुलाकात होनी है। हम खुले दिल से निवेशकों से विचार विमर्श करेंगे, ताकि हमारी मूलभूत आवश्यकताओं को उनकी तकनीकी के साथ नया आयाम दिया जा सके।

पर्यटन सेक्टर उत्तराखंड की आर्थिकी की रीढ़ है। यहां पर्यटकों की संख्या साल दर साल बढ़ रही है, लेकिन कई बार अचानक पहाड़ खिसकने से रास्ते बंद हो जाते हैं, जिससे पर्यटन को नुकसान होता है। यहां के लोगों को भी हर बार भारी क्षति झेलनी पड़ती है। इसके लिए क्या कोई योजना है?

दिसंबर में निवेशक सम्मेलन के बाद हमारा फोकस आपदा से निपटने पर ही है। इसके लिए भी सरकार बड़ी तैयारी कर रही है। ऐसा ही एक और सम्मेलन करने की हमारी योजना है। इसमें देशी-विदेशी विशेषज्ञों और इससे निपटने वाली एजेंसियों को आमंत्रित करेंगे और ठोस समाधान निकालेंगे। पहाड़ों पर निर्माण संतुलन और नए स्थानों पर टाउनशिप बनाने की योजना पर काम किया जाएगा। हालांकि कुछ सालों में राज्य में रेल, सड़क और एयर कनेक्टिविटी में सुधार हुआ है। चारधाम यात्रा को आसान बनाने के लिए ऑल वेदर रोड के निर्माण कार्य में भी प्रगति है।

आपकी सरकार की कुछ महत्वपूर्ण ‘पेंडिंग फाइल्स’ हैं। लंबे समय से चार मंत्री पद खाली हैं और पार्टी के तमाम नेता दायित्व के लिए लंबी प्रतीक्षा में हैं। कब और कितना समय लगेगा?

हमारी कोशिश है कैबिनेट जल्द पूरी हो। बागेश्वर उपचुनाव के चलते भी कुछ चीजें रुकी रहीं। प्रदेश संगठन और हमारी ओर से भी इसे जल्द भरने की तैयारी है। दायित्यधारियों के चयन पर भी बड़े नेताओं की सहमति बन चुकी है। सही समय आते ही घोषणा कर दी जाएगी।